प्रीति की शादी को 2 साल हो गए थे और उसका पति एक अच्छे बैंक में मैनेजर की पोस्ट पर था आज प्रीति घर में कुछ काम कर रही होती है और उसका पति घर आ जाता है और उससे बोलता है एक गुड न्यूज़ है तभी प्रति बहुत एक्साइटेड हो जाती है और पूछती है क्या है जल्दी बताओ.
अब प्रीति को थोड़ा घबराहट भी होती है क्योंकि वह पहली बार इतने बड़े होटल में डिनर करने के लिए जा रही थी फिर अपने पति से बोलती है चलो चलते हैं हमने तो अच्छे कपड़े भी पहने हुए हैं तो सब हमें अमीर ही समझेंगे यहां तो बहुत महंगी महंगी गाड़ियां भी खड़ी है हमारी गाड़ी तो उनके सामने कुछ भी नहीं लग रही अब दोनों होटल के अंदर जाते हैं क्योंकि होटल में बहुत भीड़ थी इसलिए प्रीति एक खाली टेबल पर पति के साथ बैठ जाती है तो वह देखती है कि एक साधारण से कपड़ों में एक लड़का उसकी ओर बढ़ता है और प्रीति को देखते ही चौंक जाता है
जो कॉलेज टाइम में प्रीति को बहुत ज्यादा प्यार करता था लेकिन गरीब होने की वजह से प्रीति ने उसके प्यार को ठुकरा दिया था और बोला था कि तुम जैसे गरीब से मैं कभी शादी नहीं करूंगी क्योंकि मेरे बहुत महंगे शौक है जो तुम पूरे नहीं कर पाओगे अब उस साधारण से दिखने वाले आदमी को देखकर प्रीति को वह सब बातें याद आ जाती है तभी प्रीति उससे बोलती है तुम यहां क्या कर रहे हो और तुम्हें यहां तो इतने महंगे होटल में घुसने किसने दिया तुमने मुझे देखा होगा और मेरा पीछा करते हुए इस होटल में आ गए वैसे तुम यहां क्या कर रहे हो तुम्हें घुसने किसने दिया यहां वेटर हो क्या प्रीति उस साधारण आदमी को इतना सब कुछ बोलती रहती है और वह साधारण आदमी उसको चुपचाप सुनता रहता है उतने में ही प्रीति जोर-----------से चिल्लाने लगती है चले जाओ यहां से मुझे अपनी शक्ल मत दिखाना
तभी प्रीति देखती है कि 5 6 बाउंसर उनके पास आकर प्रीति और पति को बाहर जाने के लिए बोलते हैं इतने में प्रीति गुस्से में बोलती हैं अरे हम पैसे वाले हैं पैसे देंगे यहां पर खाने लिए आए हैं तुम धक्का मार कर हमें बाहर क्यों कर रहे हो तभी वहां के मैनेजर प्रीति से बोलते हैं आप यहां नहीं खा सकती आप यहां से चली जाइए लेकिन प्रीति उनसे झगड़ने लगते हैं और बोलती कोई फ्री में नहीं खा रहे हैं यहां तुम्हें पैसे देंगे लेकिन मैनेजर उसकी एक बात नहीं सुनता और बाउंसर से बोलता है कि ने धक्के मार के होटल के गेट से बाहर कर दो अब यह सुनकर बाउंसर प्रीति और उसके पति को होटल से बाहर जाने के लिए बोलते हैं जैसे ही वह बाहर को जाते हैं उतने में ही वह साधारण आदमी उन्हें रोक लेता है और बोलता है रहने दो इनसे बोलो खाना खा ले और आइंदा के बाद इस होटल में फिर दोबारा ना आये यह सुनकर बाउंसर रुक जाते हैं और बोलता है कि आज आप खाना खा लीजिए
मैनेजर भी बोलता है कि आज आप खाना खा लीजिए आइंदा के बाद इस होटल में दोबारा मत आना अब यह बातें सुनकर प्रीति चौक जाती है कि एक साधारण से आदमी की बात सुनकर यह मैनेजर और बाउंसर रुक गए ऐसा क्या है इस आदमी में हमने तो इतने अच्छे कपड़े पहने है हमारी बात सुनने को तैयार नहीं अब प्रीति उस मैनेजर से पूछती है अच्छा एक बात बताओ हमने तुम्हें इतना कुछ बोला तुमने हमारी एक बात नहीं सुनी और इस साधारण से गरीब आदमी की बात तुमने एक बारी में मान ली आखिर बात क्या है तभी वह मैनेजर बताता है कि……. क्या आप इनको नहीं जानती हो ….आप इस होटल में आज पहली बार आई हो प्रीति बोलती है हां मैं पहली बार आई हूं कौन है यह तभी होटल का मैनेजर बोलता है ये होटल के मालिक है और ऐसे ही इनके 10 और होटल है पूरे देश में यह हमेशा ऐसे साधारण सिंपल कपड़ों में रहते हैं क्योंकि इनकी गरीबी का किसी लड़की ने मजाक उड़ा कर धोखा दिया था
तब से इन्होंने हमेशा अपने आप को साधारण रखा लेकिन अपनी सोच को हमेशा ऊंचा रखा तभी उन्होंने आज तुम्हें यहां पर खाना खाने के लिए परमिशन दे दी नहीं तो तुम्हारी ऐसी हरकतों से तुम जैसे लोगों को इस होटल में घुसने भी नहीं दिया जाता चुपचाप खाना खा लो और यहां से चले जाओ अगर मलिक ने आज हमें नहीं रोका होता तो तुम्हारी जगह सीधे गेट के बाहर होती है ऐसा बोल कर मैनेजर वहां से चला जाता है अब प्रति अपने पति के साथ बैठी होती है और बहुत ज्यादा सोच में पड़ जाती हैकि मैं सोच रही थी मेरे पति को ₹100000 मिल रहे हैं और मैं बहुत अमीर हो गई हूं लेकिन यह तो हमसे भी 10 गुना ज्यादा अमीर है काश मेने उस समय इसके प्रपोजल को एक्सेप्ट कर लिया होता तो आज मैं भी इन 10 होटल की मालकिन होती प्रीति को ऐसा सोच कर बहुत लालच आ जाता है क्योंकि उसका स्वभाव लालची टाइप का होता हैऔर वह सोचती है कि अभी भी क्या जा रहा है एक बार एक बार ट्राई कर लेती हूं ऐसा सोचकर प्रीति उसे देखने लगती है और उसके पास जाती है और उस साधारण आदमी से बोलती है मुझे माफ कर दो मैं कॉलेज टाइम पर तुम्हारे प्यार को समझ नहीं पाई लेकिन आज मुझे तुम्हारी सादगी पर नाज है और मैं अपने पति से बिल्कुल भी खुश नहीं हूं क्योंकि मुझे समझ में आ गया कि तुम ही मुझे सच्चा प्यार करते थे और आज भी मुझे प्यार करते हो
अब वह साधारण आदमी प्रीति की यह सब बातें सुनकर उसको जोर से एक थप्पड़ मारता है और बोलता है मैं तुमसे प्यार करता था और तुम्हारे प्यार में अंधा था लेकिन आज मुझे समझ में आ गया है कि तुम्हें किसी से भी प्यार नहीं है जो पेसो के लिए अपने पति को छोड़ने को तैयार है वह किसी को भी छोड़ सकती है और मुझे दुख होता है कि मैं एक ऐसी लड़की को प्यार किया जो किसी के प्यार के लायक नहीं है सिर्फ पैसों की लालची है तुम जैसी लड़की से प्यार करना मेरा एक बुरा सपना था चुपचाप से चली जाओ नहीं तो मैं बाउंसर से बोल कर तुम्हें धक्के मार कर बाहर करवा दूंगा अब प्रति अपना सा मुंह लेकर चुपचाप होटल से बाहर चली जाती है.
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